जितेंद्र आत्मदाह प्रकरण: परिजनों पर दर्ज मुकदमों की होगी पुन: विवेचना
Bagpat News – दिल्ली में आत्मदाह करने वाले दलित युवक जितेंद्र के मामले की पुन: विवेचना होगी। युवक के पिता महिपाल ने आरोप लगाया कि पुलिस ने उनकी शिकायतों पर कार्रवाई नहीं की, जिससे उनके बेटे ने आत्मदाह किया। अब…
दिल्ली में आत्मदाह करने वाले दलित युवक और उसके परिजनों के खिलाफ दर्ज हुए दो मुकदमों की पुन: विवेचना होगी। न्यायालय से अनुमति लेने के बाद एएसपी ने पुन: विवेचना के आदेश जारी कर दिए है।
अब सीओ बड़ौत विवेचक का नाम तय करेंगे, जिसके बाद दोनों मुकदमों की फिर से विवेचना होगी। छपरौली की पट्टी धंधान का रहने वाला महिपाल सिंह गत 29 दिसंबर को एएसपी से मिला था। उसने एएसपी को शिकायती पत्र देते हुए बताया था कि 31 मई 2021 को उसकी बेटी और पुत्रवधु पर हमला किया गया था। जिसमें दोनों घायल हो गई थी। पुत्रवधु का गर्भपात हो गया था। उन्होंने थाने पर शिकायती की, लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की। उल्टे उसके पुत्र जितेंद्र और शीलू को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। इसके बाद आरोपियों से साज खाकर पुलिस ने उनके खिलाफ दो ओर मुकदमे दर्ज किए, जबकि उनकी शिकायतों पर कोई सुनवाई नहीं हुई।
वहीं, 2024 में उन्होंने एससी/एसटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कराया, तो पुलिस ने उसमें भी कोई खास कार्रवाई नहीं की। इस उत्पीड़न से तंग आकर उसका एक पुत्र आत्मदाह कर चुका है। उन्होंने एसपी से 2021 और 2022 में छपरौली थाने पर उनके खिलाफ दर्ज हुए दो मुकदमों की पुन: विवेचना किए जाने की मांग की। एएसपी एनपी सिंह ने बताया कि महिपाल सिंह की अर्जी मिलने के बाद न्यायालय से दोनों मुकदमों की पुन: विवेचना कराने की अनुमति ली गई।
न्यायालय से अनुमति मिलने के बाद दोनों मुकदमों की पुन: विवेचना के आदेश जारी कर दिए गए है। अब सीओ बड़ौत विवेचक तय करेंगे, जिसके बाद दोनों मुकदमों की पुन: विवेचना सभी तथ्यों के आधार पर शुरू की जाएगी। विवेचना के दौरान यदि पुलिस अधिकारियों या कर्मचारियों की लापरवाही सामने आएगी, तो उनके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी।
सौजन्य: हिन्दुस्तान
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