UP: ‘मैं मरना नहीं चाहता था… जीजा और पुलिस के कारण जान देनी पड़ रही’, दानिश के सुसाइड नोट में लिखी ये बातें
दानिश सुसाइड केस में पुलिस ने बिना जांच पूरी हुए ही दरोगा को क्लीन चिट दे दी है। डीसीपी ने कहा कि प्रारंभिक जांच में चौकी इंचार्ज का रोल नहीं मिला। एसीपी ने कहा कि अभी जांच जारी है।
सुसाइड नोट में बहन, बहनोई और बेगमपुरवा चौकी प्रभारी पर प्रताड़ना का आरोप लगाने वाले दानिश खान (30) की आत्महत्या के मामले में पुलिस ने बिना जांच पूरी हुए ही दरोगा को क्लीन चिट दे दी है।
डीसीपी साउथ अंकिता शर्मा का कहना है कि अब तक की जांच में चौकी प्रभारी को कोई रोल नहीं पाया गया है। वहीं, मामले की जांच कर रही एसीपी बाबूपुरवा अंजलि विश्वकर्मा का कहना है कि मामले की जांच चल रही है। अभी कुछ भी कहना जल्दबाजी होगी।
बता दें, रेल बाजार के मीरपुर का रहने वाला दानिश ट्रेडिंग करता था। शुक्रवार को उसने त्रिवेणीनगर स्थित शिव नारायण टंडन सेतु के नीचे से गुजरी रेलवे लाइन की पटरी पर सिर रखकर ट्रेन से कटकर जान दे दी थी।
मरने वाले दानिश ने सुसाइड नोट में दरोगा माजिद पर बहनोई सरताज से पैसे लेकर उसे परेशान करने का आरोप लगाया था। साथ ही सरताज पर आठ लाख रुपये मांगने और न देने पर जेल भिजवाने व जमानत तक न होने देने की बात कही थी। उसका कहना था कि सरताज ने चोरी का झूठा मुकदमा लिखवाकर उसे व उसकी मां को फंसा दिया था।
विधायक के पीआरओ के साथ गया था दानिश
डीसीपी साउथ ने बताया कि चौकी प्रभारी ने दर्ज चारी के मामले में दानिश को बयान देने के लिए बुलाया था। दानिश एक विधायक के पीआरओ के साथ एक बार चौकी प्रभारी से मिला था। हालांकि इसके बाद से वह बयान देने नहीं आ रहा था। एसीपी बाबूपुरवा की जांच में अब तक चौकी प्रभारी का कोई दोष नहीं पाया गया है।
आत्महत्या के लिए उकसाने के आरोप में तीन पर केस, सरताज गिरफ्तार
मामला सामने आने के बाद रविवार को पुलिस ने आत्महत्या करने वाले दानिश की मां रईसा बेगम की तहरीर पर बेटी अंजुम, दामाद सरताज अहमद और नाती सूफियान के खिलाफ केस दर्ज कर सरताज को गिरफ्तार कर लिया। रईसा का आरोप है कि जाजमऊ वाले मकान को बेचने पर 9 लाख रुपये मिले थे, उनमें से आठ लाख रुपये तीनों मांग रहे थे। मना करने पर गाली गलौज कर चोरी का झूठा मुकदमा दर्ज करा दिया। साथ ही जेल भेजने की धमकी देते। प्रताड़ना से तंग आकर दानिश ने आत्महत्या कर ली।
सुसाइड नोट में दानिश ने लिखा… मेरे मरने के बाद कर्ज माफ कर देना
आत्महत्या करने वाले दानिश ने सुसाइड नोट में कर्ज देने वालों से माफी मांगी। कहा कि मैं इससे ज्यादा मुसीबत बर्दाश्त नहीं कर सकता। मैं अकेले इतना कुछ नहीं झेल पा रहा था। मेरे मरने के बाद हो सके तो कर्ज माफ कर देना। मेरी मां और घरवालों को परेशान मत करना। मैं मरना नहीं चाहता था। मुझे सरताज की वजह से जान देनी पड़ रही है। मेरी मौत की वजह सरताज है।
आगे लिखा कि… बेगमपुरवा चौकी प्रभारी रोज फोन करके परेशान कर रहा है, माजिद खान एसएचओ। मेरे पास कुछ नहीं है, इसलिए मैं अपनी जान दे रहा हूं। सुसाइड नोट के अंतिम पेज पर दानिश ने लिखा कि सरताज ने माजिद खान को पैसा दिया है, हम लोगों को फंसाने के लिए। मेरे मरने के बाद मेरी मां को बचा लेना। मेरे भाइयों से कह देना अम्मी का बहुत ख्याल रखें।
सौजन्य :अमर उजाला
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