मां मेनका के प्रचार में अंतिम दिन वरुण गांधी ने की रैली, न बीजेपी का नाम लिया न कमल का जिक्र
पीलीभीत के सांसद वरुण गांधी टिकट कटने के बाद भले ही बगावत नहीं किए हैं लेकिन बीजेपी से उनकी नाराजगी साफ जाहिर हो रही है। वरुण गांधी की बीजेपी से दूरी का आलम यह है कि उन्होंने अपनी मां मेनका गांधी के प्रचार अभियान संभालने से भी परहेज किया। हालांकि, हर बार मेनका गांधी के चुनाव प्रचार की कमान वरुण गांधी के हाथों में होती थी लेकिन इस बार स्थितियां अलग है। बीजेपी ने इस बार पीलीभीत से वरुण गांधी की जगह यूपी के मंत्री जतिन प्रसाद को चुनाव में उतारा है। जबकि उनकी मां मेनका गांधी का टिकट बरकरार रखा है।
सुल्तानपुर से मेनका गांधी बीजेपी की प्रत्याशी हैं। लोकसभा चुनाव में छठे चरण की होने वाली 25 मई को वोटिंग में सुल्तानपुर की जनता भी अपना सांसद चुनेगी।
हालांकि, चुनाव अभियान समाप्त होने के आखिरी दिन वरुण गांधी अपनी मां के प्रचार में दिखे। अंतिम दिन उन्होंने अपनी मां मेनका गांधी के लिए रैली की है। पूरी रैली के दौरान सबसे खास बात यह रही कि वरुण गांधी ने कहीं भी बीजेपी का जिक्र नहीं किया। यहां तक कि वह बीजेपी वाला गमछा या पट्टा तक से परहेज किए। रैली में पहुंचे वरुण गांधी राधे-राधे लिखा हुआ पट्टा डाला हुआ था।
सौजन्य :एशिन नेट
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