दलित दूल्हे को शादी में घोड़ी पर ना चढ़ने का फरमान, कलेक्टर-एसपी से की सुरक्षा की मांग
टोंक ग्राम पंचायत लांबाकलां के बीलामाता गांव के रणजीत बैरवा ने परिजनों के साथ जिला मुख्यालय पहुंचकर अपनी शादी में सुरक्षा की मांगी है। क्योंकि उसे अंदेशा है सवर्ण जाति के लोग उसे घोडी पर चढ़ने से रोकेंगे और विवाद होगा। इसलिए उन्होंने कलेक्टर डॉ. सौम्या झा व एसपी संजीव नैन को ज्ञापन देकर बारात में सुरक्षा मुहैया करवाए जाने की मांग की है।
रणजीत ने बताया कि 17 अप्रैल को रामनवमी पर उसकी शादी पीपलू तहसील के हांडीकलां गांव निवासी प्रहलाद बैरवा की बेटी सोना बैरवा से होनी है। उसके गांव के प्रभावशाली लोगों ने पिछले कई सालों से फरमान जारी किया हुआ है कि गांव में दलित समाज का कोई भी व्यक्ति घोड़ी पर बैठकर गांव से बारात लेकर निकालेगा। कलेक्टर के निजी सचिव व बाद में एसपी को दिए ज्ञापन के जरिए बात अवगत करवाते हुए सुरक्षा की मांग की है। भीम सेना जिलाध्यक्ष अशोक बैरवा ने बताया कि ऐसे लोगों पर सख्त कानूनी कार्यवाही की जानी चाहिए। ज्ञापन के देने वालो रंजीत बैरवा, रामस्वरूप बैरवा, सुखपाल बैरवा भी मौजूद रहे। परिजनों से की थी प्रभावशाली लोगों से बात : ज्ञापन देने आए रणजीत ने बताया कि शादी को लेकर उन्होंने व उनके परिजनों ने गांव के उक्त प्रभावशाली लोगों से बात कर बारात घोडी पर निकाले जाने के लिए अनुरोध किया था। लेकिन परिजनों के अनुरोध को उन लोगों ने अस्वीकार कर दिया। इसलिए इस मामले बारात निकालने के लिए पुलिस सुरक्षा की मांग की गई है।
सौजन्य:दैनिक भास्कर
नोट: यह समाचार मूल रूप से bhaskar.comमें प्रकाशित हुआ है|और इसका उपयोग पूरी तरह से गैर-लाभकारी/गैर-व्यावसायिक उद्देश्यों के लिए विशेष रूप से मानव अधिकार के लिए किया गया था।