मुझे घोड़ी चढ़ना हैसाहब… आजादी के 76 साल बाद छतरपुर के गांव में पहली बार घोड़ी चढ़ा दलित दूल्हा
छतरपुर के गांव में आजादी के 76 साल बाद पहली बार दलित दूल्हा घोड़ी चढ़ा, पुलिस की देख रेख में बारात शांतिपूर्ण रूप से निकाली गई|
छतरपुर। जिले केटटम गांव में रहने वाले एक दलित दूल्हे ने घोड़ी पर चढ़ने से पहले पुलिस से सुरक्षा की मांग की, जिसके लिए उसने पुलिस को आवेदन लिखा और उसमें इस बात का जिक्र किया की आज तक जिस गांव में वह रह रहा है, उस गांव से कोई दलित घोड़ी पर चढ़कर गांव नही घूमा. इसके बाद पुलिस ने युवक को सुरक्षा दी और दलित दूल्हा घोड़ी पर चढ़ा और गांव मेंघूमा(राछ बुंदली परंपरा), राहत की बात हैकि इस बीच किसी भी तरह की कोई घटना भी नही घटी|
मुझे घोड़ी चढ़ने दी जाए साहब:
पूरा मामला महाराजपुर थाना क्षेत्र केटटम गांव का है, जहां रहने वाले सूरज अहिरवार की शादी खजुराहो की रहने वाली नीलम अहिरवार से 9 दिसंबर को होनी थी. इसको लेकर सूरज ने 4 दिसंबर को थाना महाराजपुर में एक आवेदन देते हुए इस बात की शंका जाहिर की थी कि “गांव में रहने कुछ अपर कास्ट के लोग मुझेघोड़ी पर चढ़ने से रोक सकतेहै, क्योंकि आज तक आजादी के बाद से इस गांव मेंकोई भी दलित घोड़ी पर नही चढ़ा है.” मामले की गंभीरता देखतेहुए पुलिस ने 9 दिसंबर की रात सूरज को पुलिस सुरक्षा मुहैया कराई और पुलिस की देख रेख मेंगांव में बारात निकाली गई. सूरज का कहना हैकि “देश में सभी को संविधान नेमौलिक अधिकार दिए है और हमेंपूरा अधिकार हैकि हम स्वत्रंत भारत में हक़ अधिकार की बात कर सकते है |
आखिरकार टूट गई परंपरा:
गांव मेंही रहनेवालेरोहन चौधरी ने जानकारी देतेहुए बताया कि वह केटटम गांव का ही रहने वाले हैं और उनके गांव में आजादी से लेकर आज तक कोई भी दलित दूल्हा घोड़ी पर नहीं चढ़ा. सूरज की शादी थी और सूरज ने हिम्मत दिखाई और प्रशासन से मदद मांगी, इसके बाद सूरज घोड़ी पर चढ़ा और गांव में घुमा|पुलिस प्रशासन का अच्छा सहयोग रहा, आजादी की बाद से चली आ रही है परंपरा आखिरकार सूरज के हिम्मत दिखानेके बाद टूट गई|
शांतिपूर्णरूप से निकली बारात:
दलितों के लिए काम करने वाले युवा नेता सतीश सिंह ने बताया कि उन्हें इस बात की जानकारी लगी थी कि एक दलित युवक ने घोड़ी चढ़नेके लिए पुलिस प्रशासन से मदद मांगी है. यही वजह थी कि हम सब लोग इस शादी में उपस्थित हुए मेरे साथ मेरे कई अन्य साथी भी हैं, पुलिस प्रशासन का बहुत अच्छा योगदान रहा किसी भी तरह की कोई घटना नहीं हुई. मामले पर महाराजपुर थाना इंचार्जविदु विश्वास ने बताया कि “टटम गांव सेसुराज नाम के युवक नेशादी समारोह मेंघोड़ी चढ़ने को लेकर शंका जाहिर करते हुए सुरक्षा की मांग की थी, पुलिस ने मौके पर पहुंच कर घुड़चड़ी की रस्म कराई. इस दौरान कहीं भी कोई विरोध नहीं हुआ.”
सौजन्य- इटीवी भारत
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